शिक्षक और परिवर्तन की मिशाल शिक्षक को परिवर्तन के लिए जाना जाता है। समाज में महत्वपूर्ण परिवर्तन तथा सुधारों के प्रतीक हैं, शिक्षक | अब उन शिक्षकों को एक पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण करनी है , जिनकी सेवा 6 अथवा 8 वर्ष है , हां उन्हें पास करना भी चाहिए क्योंकि वे राष्ट्र निर्माण की नर्सरी तैयार कर रहे हैं। परन्तु क्या ऐसी परीक्षा जिसमें पिता और पुत्र एक साथ बैठ कर परीक्षा दें | उसके लिए अतिरिक्त समय , तैयारी और पुनः समायोजित तैयारी की जरुरत होगी | सरकारी शिक्षकों का दायित्व एक सरकारी शिक्षक को , बाल गणना , जनगणना , मकान गणना , बाढ़ नियंत्रण, बी एलओ, सफाई , एमडीएमए ,चुनाव और भी बहुत कुछ तब जा कर मूल दायित्व बच्चों को गढ़ कर नागरिक बनाना | मुर्गे की कहानी और शिक्षक जो समस्याएं आती हैं उनकी पटकथा और पृष्ठभूमि होती है। अनायास एक दिन में समस्याएं नहीं आ जाती. .. एक लोक कथा याद आ गई. . एक शानदार मुर्गा था कलंगीदार मस्तक , चमकीले पंख , चमकदार आंखे , मांसल पैर और वजनदार शरीर अर्...
मन की गलतफहमी
एक दिन माँ का फोन आया, फोन पर माँ ने ऐसी खबर सुनाई की मेघना झूम उठी , माँ ने कहा शिशिर की शादी सिमरन से तय हो गयी है, जो अगले माह है, लड़की शिशिर को भी पसंद आ गयी है! अगले महीने शिशिर और सिमरन की शादी धूमधाम से हुई, मेघना भी अपनी एक वर्ष की बिटिया के साथ आई और शादी के सभी रश्मों में शरीक़ हुई, परन्तु अपने घर में अकेले होने के कारण उसे जल्दी ही जना पड़ा! इधर शिशिर और सिमरन का वैवाहिक जीवन सही से चलने लगा! परन्तु शिशिर के आर्मी में होने के कारण छुट्टी समाप्त कर जल्दी ही भटिंडा बार्डर चला गया जहाँ उसकी पोस्टिंग थी!
बार्डर की ड्यूटी होने के कारण सिमरन न जा सकी वह माँ के साथ घर पर रह गयी !
मेघना माँ से कुछ दिन अन्तराल पर फोन से बात कर सब समाचार प्राप्त कर लेती , एक दिन मेघना ने माँ से पूछा भाभी क्या कर रही हैं, तो माँ ने कहा टीवी देख रही होगी, काम ही क्या है बस नाश्ता बनाना होता है, कामवाली है, कुछ काम मैं भी कर लेती हूँ! मेघना ने कहा माँ भाभी से कहो कहीं पार्ट टाइम जाब ढूँढ ले ताकि उसका मन लगा रहेगा और अकेलापन भी दूर हो जाएगा, तुम बात करके बताना मैं सहयोग करुंगी अगर वह तैयार होंगी तो, माँ ने कहा ठीक है मैं बात करके फोन करुंगी!
इसके बाद मेघना अपनी बेटी और व्यस्तता के कारण फोन न कर सकी और माँ का भी कोई फोन न आया!
एक दिन अचानक फोन की घण्टी बजी उधर से माँ की आवाज थी सब समाचार होने के बाद मेघना ने माँ से पूछा क्या आप ने भाभी से बात
की माँ ने कहा हां वही बताने के लिए फोन की हूँ, उस दिन बहू हमलोगों की फोन पर हो रही बात सुन रही थी और अगले दिन कामवाली को हटा दी और सारे काम स्वयं करने लगी ! मेघना ने कहा उन्हें गलतफहमी हो गई होगी आपने उनसे बात करके गलतफहमी दूर क्यों नहीं की , माँ ने कहा मैंने उससे बात की और उसकी गलतफहमी दूर की पूरी बात बताई तो वह समझदार है समझ गयी और उसकी एक टीचर ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट में एडमिशन भी करा दी हूं !
तो ध्यान रखें गलतफहमी न रखें बातचीत से दूर कर लें, कम्यनिकेशन गैप न करें, बातचीत करें मनमुटाव न रखें...
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Nice
ReplyDeleteउत्साह वर्धन हेतु धन्यवाद
Deleteप्रेरणादायक प्रसंग। बहुत ही अच्छा प्रयास।
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